बारिश से चना और गेहूं की फसल बर्बाद, जल्द मुआवजा दें राज्य सरकार - विक्रांत
बेमौसम बारिश से खेत में कटने के लिए खड़ी फसल को हुआ भारी नुकसान
खैरागढ़- बीते दिनों हुई बेमौसम बारिश से खेतों में पककर कटने के लिए तैयार खड़ी चना और गेहूं की फसल को भारी नुकसान पहुंचा है. फसल बर्बाद होने से प्रभावित किसानों के सामने आर्थिक संकट आ खड़ा हुआ है. जिला पंचायत के उपाध्यक्ष विक्रांत सिंह ने प्रभावित किसानों को जल्द ही क्षतिपूर्ति राशि प्रभावित किसानों को देने की मांग की है.जिला पंचायत उपाध्यक्ष श्री सिंह ने कहा कि तीन चार दिन पूर्व मौसम में अचानक आए परिवर्तन से बेमौसम बारिश हुई. इन दिनों नवगठित जिले खैरागढ़-छुईखदान-गंडई तथा मोहला-मानपुर-अंबागढ़ चौकी एवं राजनांदगांव जिले में हजारों एकड़ में चना एवं गेहूं की फसल पककर तैयार खड़ी है. कई किसानों ने फसल की कटाई शुरू भी कर दी थी. कुछ किसान सप्ताहभर बाद फसल की कटाई करने वाले थे. ऐसे में बेमौसम बारिश किसानों पर आफत बनकर बरस पड़ी. हजारों एकड़ में लगी चना एवं गेहूं की फसल बर्बाद हो गई, जिसके कारण प्रभावित किसानों को भारी नुकसान उठाना पड़ा है. उन्होंने कहा कि बीमा कंपनी द्वारा फसल का बीमा किया जाता है. अति वृष्टि,ओलावृष्टि की स्थिति में राज्य सरकार द्वारा 6/4 के तहत प्रभावित किसानों को शीघ्र मुआयजा देने का प्रावधान है. ऐसे में बेमौसम बारिश से हुए फसल का शीघ्र मौका मुआयना कर किसानों को पर्याप्त मुआयजा प्रदान किया जाना चाहिए.फसल बीमा का बहाना न बनाए सरकार-
जिला पंचायत उपाध्यक्ष विक्रांत सिंह ने कहा कि फसल बीमा का प्रावधान अलग होता है. बेमौसम बारिश या अन्य आपदा-विपदा की स्थिति में किसानों को अलग से मुआवजा प्रदान करने का प्रावधान है. राज्य सरकार फसल बीमा का बहाना न बनाते हुए बारिश से बर्बाद फसल का शीघ्र सर्वे कराकर 15 दिनों के भीतर सभी प्रभावित किसानों को मुआवजा प्रदान करें.अन्यथा पीड़ित किसानों के साथ मिलकर राज्य सरकार के खिलाफ आंदोलन किया जाएगा.
सीएनआई न्यूज़ की खैरागढ़ से ब्यूरो रिपोर्ट
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