सेवा निवृत्त्व प्रधानपाठक नारायणसिंह दीवान ने सुनाया प्रेरक प्रसंग
पिथौरा- ग्राम ठाकुरदिया कला विकास खण्ड पिथौरा के 82 वर्षीय मालगुजार एवं सेवा निवृत्त प्रधानपाठक श्री नारायणसिंह दीवान 16 जुलाई शनिवार को शासकीय पूर्व माध्यमिक शाला ठाकुरदिया कला में शिक्षक-शिक्षिकाओं व स्कूली बच्चों से सौजन्य मुलाकात करने के लिये आये । उन्होंने सब से मेल- मुलाकात कर पढ़ाई -लिखाई के प्रति खुशी जाहिर की।
श्री दीवान वर्तमान में ईश्वरीय विश्वविद्यालय पिथौरा से जुड़े हुये हैं। वे शिक्षकों से लगभग 1 घण्टे तक बातचीत किये और शुभ सन्देश दे गए। उन्होंने कई प्रेरक प्रसंग भी बच्चों को सुनाए। उन्होंने बताया कि हमारे ग्राम में कुल 102 कंवर (दीवान) परिवार में से 35 परिवार हमारे परिवार से हैं। यह आदिवासी बाहुल्य ग्राम है। पुरानी बातों को ताजा करते हुए उन्होंने कहा कि हमारा परिवार इतना बड़ा था कि खाना खाने के समय घण्टी बजा कर बुलाना पड़ता था। तब एक साथ बैठकर खाना खाया करते थे।
उन्होंने एक महत्वपूर्ण बात बतायी कि पुत्र के पुत्र को पोता, पुत्री को पोती और बेटी के पुत्र को नाती ,पुत्री को नातिन कहा जाता है। जबकि अधिकांश लोग अज्ञानतावश पुत्र के पुत्र को नाती कह जाते हैं,जो कि वह गलत है।
इस दौरान प्रधानपाठक छबिराम पटेल शिक्षक मोहितराम पटेल,मुकेशकुमार सिन्हा,किरण ठाकुर,ज्योति शुक्ला एवं रोहिणी सिन्हा उपस्थित रहे।
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