संजू महाजन के साथ सोमेश लहरें की रिपोर्ट
छुईखदान - मुआवजा का राशि गणन पत्रक बिना स्पष्ट भी नही हो रहा है.
खैरागढ !दनिया को तहसील मुख्यालय छुईखदान से जोड़ने वाली दनिया उदयपुर मार्ग का निर्माण कार्य में इन दिनों चल रहा है।उक्त मार्ग का निर्माण एडीबी प्रोजेक्ट अंतर्गत ठेकेदार एनसी नाहर के द्वारा किया जा रहा है l मार्ग निर्माण के चौड़ीकरण की जद में छुईखदान से लेकर दनिया तक एक दर्जन से अधिक गांव के सैंकड़ों मकान और बाउंड्रीवाल को तोड़ा गया है जिसके लिए इन प्रभावित मकान मालिकों को एडीबी द्वारा एक एनजीओ से सर्वे और गणना करा कर सहायता राशि (मुआवजा) बांटा गया है l किसानों को चेक तो दे दिया गया है किन्तु गणना पत्र नहीं दिया गया l जिससे किसी भी प्रभावितों को ये पता नहीं कि उनकी कितनी सम्पत्ति का मुआवजा मिला है और कितने तोड़े जा रहे हैं l प्रभावित परिवारों द्वारा इस संबंध में एडीबी और पीडब्ल्यूडी विभाग के आधिकारों से निवेदन कर गणना पत्र मांगा गया, किन्तु पिछले 06 माह से आज कल कहते हुए लगातर घुमाया जा रहा है l कभी कहते हैं कि गणना पत्र गोपनीय होता है इसे नहीं दिखाया जाता, तो कभी झूठे नियम बता कर किसानों को गुमराह कर रहे हैं l
मुख्यालय मे नही रहते रेसिडेंट इंजीनियर
बता दे कि संबंधित सड़क निर्माण मे लगे रेसिडेंट इंजीनियर को मुख्यालय मे रहकर सड़क निर्माण का सुपरविजन सहित मानिटरिंग करना है. लेकिन अधिकांश समय कार्य स्थल से नदारत रहते है. यानि उक्त इंजीनियर का साइड पर न मिलना प्रभावित ग्रामीणों के लिए सिरदर्द बना हुआ है. जो इंजीनियर मुख्यालय मे न रहकर अन्यत्र कहीं बाहर रह रहा हो उससे बेहतर काम की कल्पना करना मुश्किल है। यानि उक्त अधिकारी के अनुपस्थिति के चलते काम के गुणवत्ता पर भी सवाल उठ रहा है. ग्रामीण ये भी बताते है कि यदि कोई व्यक्ति फोन से बात करने की कोशिश करते है तो इंजीनियर ठीक से बात भी नही करते. जिससे ग्रामीणों मे इंजीनियर के प्रति आक्रोश पनप रहा है.
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