बुद्ध पूर्णिमा:यह एक धार्मिक पर्व नहीं, बल्कि ये मानवता का संदेश देने वाला दिन है ।
सी एन आइ न्यूज-पुरुषोत्तम जोशी ।
रायपुर-बुद्ध पूर्णिमा का पर्व भारतीय संस्कृति और धर्म में अत्यधिक महत्व रखता है। यह दिन भगवान बुद्ध के जन्म, उनके निर्वाण और उनके पहले उपदेश देने के दिन के रूप में मनाया जाता है। भगवान बुद्ध ने संसार को अपने उपदेशों से दुखों से मुक्ति का रास्ता दिखाया और आत्मज्ञान की प्राप्ति का मार्ग बताया। बुद्धपूर्णिमा का पर्व विशेष रूप से बौद्धधर्म के अनुयायियों द्वारा श्रद्धा और आस्था के साथ मनाया जाता है, लेकिन यह पर्व हिंदूधर्म में भी विशेष महत्व रखता है। 2025 में बुद्धपूर्णिमा 12 मई सोमवार के दिन है । आज के दिन का विशेष महत्व और भी बढ़ जाता है क्योंकि इस दिन शुभ योग भी बन रहे हैं, जो पूजा और अनुष्ठानों के लिए उत्तम समय प्रदान करते हैं।
इस दिन विशेष रूप से पीपल के वृक्ष की पूजा का महत्व है। पीपल का वृक्ष भगवान विष्णु से जुड़ा हुआ है और इसे एक पवित्र वृक्ष माना जाता है। पीपल की पूजा करने से न केवल पुण्य की प्राप्ति होती है, बल्कि यह धार्मिक मान्यताओं के अनुसार घर में सुख, समृद्धि और खुशहाली भी लाता है।


















No comments:
Post a Comment
Please do not enter any spam link in the comment box.