छत्तीसगढ़
वरिष्ठ साहित्यकार शर्मा बाबू हुए सम्मानित
सितंबर 14 छत्तीसगढ़ के ख्याति प्राप्त वरिष्ठ साहित्यकार कमलेश प्रसाद शर्माबाबू को विश्व हिंदी दिवस पर नेपाल की प्रसिद्ध संस्था शब्द प्रतिभा बहुक्षेत्रीय सम्मान फाउन्डेशन नेपाल द्वारा हिंदी दिवस के संदर्भ में आयोजित विश्व हिंदी कविता प्रतियोगिता में उत्कृष्ट कविता के लिए "विश्व हिंदी रत्न मानद उपाधि" सम्मान से प्रशस्ति पत्र सर्टिफिकेट प्रदान कर सम्मानित किया गया है।
ज्ञात हो कि कमलेश प्रसाद शर्माबाबू खैरागढ़ छूईखदान गंडई जिले के सम्मानित साहित्यकार हैं। इनकी रचनाएं समय-समय पर विभिन्न पत्र-पत्रिकाओं में प्रकाशित होती रहती हैं। साहित्य के क्षेत्र में उल्लेखनीय योगदान के लिए दर्जनों सम्मान भी मिल चुके हैं। सम्मान ग्रहण करते हुए कमलेश प्रसाद शर्माबाबू ने कहा - हम सभी कवियों की कविता का मूल्यांकन अंतर्राष्ट्रीय संस्था द्वारा होना गौरव का विषय है। शब्द प्रतिभा निष्ठा और लगन से देश विदेश के कवि, लेखक और साहित्यकारों को प्रोत्साहित करने का कार्य करती आई है जो प्रशंसनीय है। आयोजित प्रतियोगिता में देश विदेश से हजारों प्रतिभागियों की सहभागिता थी जिसमें से उत्कृष्ट कविता के आधार पर 265 कवि कवयित्रियों का चयन किया गया है। कमलेश प्रसाद शर्माबाबू को सम्मानित करते हुए संस्था के अध्यक्ष आनन्द गिरि मायालु ने अपने संदेश में कहा -कमलेश प्रसाद शर्माबाबू बहुमुखी प्रतिभा के धनी साहित्यकार हैं। इनके लेखन में एक सहजता सरलता पाई गई है समाज को रूपांतरण करने की क्षमता है इनकी रचना में गद्य एवं पद्य विद्या में समान रूप से अधिकार देखने को मिलता है।
ज्ञात हो कि उनकी कविता "छत्तीसगढ़ के बहादुर बेटे बलिदान हुए इस माटी में, खून की होली खेले नकस्ली झीरम की उस घाटी में"। सम्मानित हुई है। शर्मा बाबू की अब तक आठ कृति प्रकाशित हो चुकी है।इस अंतर्राष्ट्रीय सम्मान के लिए उनके परिचितों,शुभचिंतकों और पाठक मित्रों ने हार्दिक बधाई प्रेषित की है।
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