कोहरौद में सरपंच उप चुनाव 28 जून को प्रचार प्रसार में कांति रजक चल रही है आगे ??
सी एन आई न्युज से मुकेश साहू की रिपोर्ट
कसडोल:-/ मुंडा_ ग्राम पंचायत कोहरौद में पंचों के द्वारा सरपंच को अविश्वास प्रस्ताव से हटा दिया गया था। सरपंच के रिक्त पद के लिए 6 महीने बाद उपचुनाव हो रहा है जिसका चुनाव 28 जून को होगा। उपचुनाव में दो ही प्रत्याशी चुनाव लड़ रहे हैं। पंचों के द्वारा हटाए गए तत्कालीन सरपंच रंजीता शुक्ला और महज 16 वोटों से रंजीता शुक्ला के हाथों पराजित हुई कांति रजक के मध्य ही चुनाव होना है। जैसे-जैसे मतदान की तारीख पास आ रही है वैसे वैसे गांव में चुनावी सरगर्मी बढ़ती जा रही हैं ।इन दिनों गली गली मोहल्ले मोहल्ले में सिर्फ चुनावी चर्चा ही हो रही है। कांति रजक को पिछले बार कम वोट से हारने के बाद इस बार मतदाताओं की सहानुभूति और वर्तमान पंचों का भरपूर जन समर्थन मिलता दिखाई दे रहा है। गली मोहल्ले में सिर्फ कांति रजक की चश्मा छाप की चर्चा सुनने को मिल रहा है। 1 दिन बाद होने वाले सरपंच चुनाव के लिए प्रत्याशियों ने प्रचार के लिए कमर कस ली है। कांति रजक वर्तमान उपसरपंच सत्यनारायण घृतलहरे पंच रतिराम वर्मा चारबाई यादव शैलेश कुमारी पैकरा शैलेश कुमारी पैकरा बाल्मीकि साहू पुष्पा पैकरा मनोज मारकंडे सोनचंद सुनीता सोनवानी सतवती कुर्रे भवनबाई पुरेना नंदू रात्रे सरस्वती साहू फुल बाई अग्घन दास मानिकपुरी खेलिन बाई फेकर भुनेश्वरी पटेल कमल नारायण यादव के साथ-साथ गांव के प्रमुख सियान संतोष बघेल मनोज मारकंडे उमेंद्र पुरैना धनउ मारकंडे रंगलाल घृतलहरे तुलाराम बंजारे चेतू मारकंडे धजाराम चेलक पुरुषोत्तम सोनवानी घनश्याम रात्रे कोमल राजेश सोनवानी राजेश कोसले हरिदास कोसले जितेंद्र चेलक देनू मिरी रामलाल रात्रे गंगा प्रसाद पटेल पंच दास मानिकपुरी पन्ना लाल रजक कृष्णा साहू हीरालाल मनहरण पटेल नरेंद्र वर्मा दौवा राम यादव अनिल पटेल घनश्याम बंजारे गजानंद साहू सहित सैकड़ों महिलाओं पुरुषों के साथ घर घर जाकर नकली मतपत्र देकर प्रचार-प्रसार जोर शोर से कर रहे है वही अपने पक्ष में वोट करने के लिए मतदाताओ से आशीर्वाद भी मांग रहे हैं तो वहीं दूसरी ओर रंजीता शुक्ला भी अपने कुछ समर्थकों के साथ घर-घर जाकर प्रचार प्रसार कर रहे हैं।
यहां यह बात बताना लाजिमी है कि कांति रजक के पति श्रीराम रजक धार्मिक प्रवृत्ति की व्यक्ति होने के साथ-साथ युवाओं व बड़े बुजुर्गों में उनकी एक अलग पहचान है। जिसकी लाभ कांति रजक को मिलता दिखाई दे रहा हैं। अब देखना यह होगा कि कि इस चुनाव में पूर्व सरपंच रंजीता शुक्ला को जनता अपना विश्वास दोबारा देकर सरपंच पद पर चुनती है या 16 वोट से पराजित प्रत्याशी कांति रजक के सर पर सरपंच का ताज सजेगा। रंजीता शुक्ला और कांति रजक दोनों चुनाव जीतने के लिए भरसक प्रयास कर रहे हैं। और घर-घर घूम कर अपनी योजनाओं के बारे में लोगों को बता रहे हैं। दोनों प्रत्याशियों के प्रतिष्ठा एक बार फिर चुनाव के मैदान में दांव पर लगी है।
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