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Tuesday, April 4, 2023

केरल की तर्ज पर छत्तीसगढ़ में भी होगी रबर की खेती


केरल की तर्ज पर छत्तीसगढ़ में भी होगी रबर की खेती

सी एन आइ न्यूज़ -पुरुषोत्तम जोशी ।


रायपुर-छत्तीसगढ़ में भी अब ज्यादा मुनाफा देने वाले रबर के पेड़ों की खेती की जा सकेगी। रबर अनुसंधान संस्थान, कोट्टायाम बस्तर क्षेत्र में रबर की खेती की संभावनाएं तलाशने के लिए कृषि अनुसंधान केन्द्र बस्तर में एक हेक्टेयर क्षेत्रफल में रबर की प्रायोगिक खेती करने जा रहा है। 

    इस संबंध में आज यहां इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय के रायपुर के कुलपति डॉ. गिरीश चंदेल की मौजूदगी में इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय रायपुर तथा रबर अनुसंधान संस्थान कोट्टायाम के मध्य एक समझौता किया गया। समझौता ज्ञापन पर इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय के संचालक अनुसंधान डॉ. विवेक कुमार त्रिपाठी तथा रबर रिसर्च इंस्टिट्यूट कोट्टायाम की संचालक अनुसंधान डॉ. एम.डी. जेस्सी ने हस्ताक्षर किये। इस समझौते के अनुसार रबर इंस्टिट्यूट कृषि अनुसंधान केन्द्र बस्तर में एक हेक्टेयर रकबे में रबर की खेती हेतु सात वर्षाें की अवधि के लिए पौध सामग्री, खाद-उर्वरक, दवाएं तथा मजदूरी पर होने वाला व्यय इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय को उपलब्ध कराएगा। वह रबर की खेती के लिए आवश्यक तकनीकी मार्गदर्शन तथा रबर निकालने की तकनीक भी उपलब्ध कराएगा। पौध प्रबंधन का कार्य रबर इंस्टिट्यूट के वैज्ञानिकों के मार्गदर्शन में इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय द्वारा किया जाएगा। 

    अनुबंध समारोह को संबोधित करते हुए इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. गिरीश चंदेल ने कहा कि रबर एक अधिक लाभ देने वाली फसल है। भारत में केरल, तमिलनाडु आदि दक्षिणी राज्यों में रबर की खेती ने किसानों को सम्पन्न बनाने में अहम भूमिका निभाई है। उन्होंने कहा कि रबर अनुसंधान संस्थान कोट्टायाम के वैज्ञानिकों ने छत्तीसगढ़ के बस्तर क्षेत्र की मिट्टी, आबोहवा, भू-पारिस्थितिकी आदि को रबर की खेती के लिए उपयुक्त पाया है और प्रायोगिक तौर पर एक हेक्टेयर क्षेत्र में रबर के पौधों का रोपण किया जा रहा है ।उन्होंने उम्मीद जताई कि यहां रबर  

की खेती को निश्चित  रूप से सफलता मिलेगी तथा किसानों को अधिक आमदनी प्राप्त हो सकेगी।

अनुबंध समारोह में इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय के निदेशक विस्तार सेवाएं  डां.अजय वर्मा निदेशक प्रक्षेत्र एवं बीज डां. एस.एस.टूटेजा,निदेशक शिक्षण

डां. एस.एस.सेंगर  कृषि महाविद्यालय रायपुर के अधिष्ठाता 

डां जी .के.दास स्वामी विवेकानंद कृषि अभियांत्रिकी के अधिष्ठाता डां विनय कुमार पाण्डेय उद्यानिकी महाविद्यालय एवं अनुसंधान केंद्र जगदलपुर की अधिष्ठाता डां जया लक्ष्मी गांगुली सहित इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय तथा रबर अनुसंधान संस्थान के वरिष्ठ वैज्ञानिक उपस्थित रहे ।

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